कभी भारत के सबसे धनी उद्योगपतियों में शुमार रहे अनिल अंबानी एक बार फिर आर्थिक मोर्चे पर सक्रिय हो गए हैं। लंबे समय से संघर्ष और वित्तीय चुनौतियों का सामना कर रहे रिलायंस समूह के चेयरमैन अनिल अंबानी अब बाज़ार से करीब 18,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बना रहे हैं।
कभी भारत के सबसे धनी उद्योगपतियों में शुमार रहे अनिल अंबानी एक बार फिर आर्थिक मोर्चे पर सक्रिय हो गए हैं। लंबे समय से संघर्ष और वित्तीय चुनौतियों का सामना कर रहे रिलायंस समूह के चेयरमैन अनिल अंबानी अब बाज़ार से करीब 18,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बना रहे हैं।
इस खबर ने उद्योग जगत में एक नई हलचल पैदा कर दी है। विशेषज्ञ इसे अनिल अंबानी समूह के लिए 'अच्छे दिनों की शुरुआत' के रूप में देख रहे हैं।
सूत्रों के अनुसार, अनिल अंबानी समूह की कई कंपनियां शेयर और अन्य माध्यमों से पूंजी जुटाने के लिए योजना तैयार कर रही हैं। इसका उद्देश्य पुराने कर्ज को चुकाना, नए प्रोजेक्ट्स में निवेश करना और बिजनेस विस्तार करना है।
पिछले कुछ वर्षों में अनिल अंबानी के व्यावसायिक साम्राज्य को कई बड़ी चुनौतियों का सामना करना पड़ा, जिसमें कर्ज के बोझ, कोर्ट केस और वैश्विक आर्थिक दबाव शामिल हैं। एक समय ऐसा भी आया जब उन्होंने खुद को 'शून्य संपत्ति वाला' घोषित कर दिया था। लेकिन अब जिस तरह से 18,000 करोड़ रुपये की बड़ी राशि जुटाने की खबर सामने आई है, उससे यह साफ संकेत मिल रहा है कि वे फिर से मजबूती के साथ मैदान में उतरने को तैयार हैं।
उद्योग विश्लेषकों का मानना है कि यदि यह राशि सफलतापूर्वक जुटा ली जाती है, तो न केवल अनिल अंबानी समूह को नया जीवन मिलेगा, बल्कि भारतीय बाज़ार में भी सकारात्मक संदेश जाएगा। निवेशकों के भरोसे में वृद्धि होगी और शेयर बाजार में भी इसका असर देखा जा सकता है।
अब सबकी नजर अनिल अंबानी की अगली रणनीति पर टिकी है। क्या वे फिर से भारतीय कॉरपोरेट वर्ल्ड में अपनी वही पुरानी चमक हासिल कर पाएंगे? यह तो समय ही बताएगा, लेकिन इतना निश्चित है कि उनकी नई पहल से उद्योग जगत में एक नई उम्मीद जगी है।
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