अमेरिकी रक्षा खुफिया एजेंसी की एक रिपोर्ट ने चेतावनी देते हुए कहा गया है कि सामूहिक विनाश के हथिया यानि वेपन्स ऑफ मास डिस्ट्रेक्शन (WMD) बनाने में चीन, पाकिस्तान की मदद कर रहा है। रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्तान, भारत को अपने लिए "अस्तित्वगत खतरा" मानता है और अपने सामरिक परमाणु हथियारों का लगातार डेवलपमेंट कर रहा है और उसमें चीन लगातार पाकिस्तान की मदद कर रहा है। अमेरिकी खुफिया एजेंसी की रिपोर्ट में जोर देकर कहा गया है कि पाकिस्तान मानता है कि वो पारंपरिक हथियारों में भारत का मुकाबला नहीं कर सकता है, लिहाजा भारत के सैन्य लाभ को कम करने के लिए वो युद्ध के मैदान में इस्तेमाल करने के लिए WMD हथियारों को डेवलप कर रहा है।
वीपन्स ऑफ मास डिस्ट्रेक्शन यानि WMD हथियार क्या होते हैं?
वेपन्स ऑफ मास डिस्ट्रेक्शन हथियार बड़े पैमाने पर लोगों को मारने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। ऐसे हथियारों के इस्तेमाल से लाखों की आबादी की तत्काल मौत हो सकती है। इसमें परमाणु, रासायनिक और जैविक हथियार आते हैं। हिरोशिमा और नागाशाकी का उदाहरण हमारे सामने है कि ऐसे हथियार किस तरह से तबाही मचा सकते हैं। लिहाजा पाकिस्तान का WMD हथियारों को डेवलप करना बहुत बड़ी चिंता की बात है। पाकिस्तान अपने ऐसे ही हथियारों की वजह से भारत से बार बार उलझने की हिम्मत करता है और चीन, भारत के खिलाफ पाकिस्तान को ऐसे हथियार बनाने में मदद देता है।
भारत-पाकिस्तान में परमाणु युद्ध का खतरा
भारत की तरह पाकिस्तान ने परमाणु अप्रसार संधि पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं और ना ही वो परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह का सदस्य बना है। जबकि चीन, 1960 के दशक से ही पाकिस्तान को परमाणु हथियारों को डेवलप करने में मदद दे रहा है और माना जाता है कि परमाणु ईंधन पर रिसर्च से लेकर परमाणु वॉरहेड के डिजाइन, यूरेनियन संवर्धनऔर दोहरे इस्तेमाल किए जाने वाले टेक्नोलॉजी भी चीन ने पाकिस्तान को दी हैं।
Comments (0)