भारत के अंतरिक्ष मिशन को लेकर एक बड़ा ऐलान हुआ है। केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने सोमवार को लोकसभा में जानकारी दी कि भारत वर्ष 2040 तक एक अंतरिक्ष यात्री को चंद्रमा की सतह पर उतारने की योजना पर काम कर रहा है। यह देश की अंतरिक्ष महत्वाकांक्षाओं की दिशा में एक नया और ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है।
शुभांशु शुक्ला की ISS यात्रा बनी चर्चा का केंद्र
लोकसभा की कार्यवाही के दौरान जब विपक्षी दल बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) को लेकर हंगामा कर रहे थे, उसी समय दोपहर 2 बजे सदन में भारतीय वायुसेना के ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला की अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) यात्रा पर चर्चा हुई।
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने बताया कि शुभांशु शुक्ला की यह यात्रा भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम की सफलता का प्रतीक है और इससे भारत के अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरराष्ट्रीय मंच पर नई पहचान मिली है। जितेंद्र सिंह ने कहा कि, शुभांशु शुक्ला की यह ऐतिहासिक यात्रा देश के लिए गर्व का क्षण है।
चांद पर मानव मिशन की तैयारी में भारत
केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने इस मौके पर लोकसभा को बताया कि ISRO और भारत सरकार **2040 तक एक भारतीय अंतरिक्ष यात्री को चंद्रमा पर भेजने** की योजना पर काम कर रहे हैं। इसके लिए भारत की स्पेस एजेंसी ISRO पहले ही दीर्घकालिक मिशन रणनीति तैयार कर रही है।
ISRO की रणनीति के प्रमुख बिंदु:
* **गगनयान मिशन** की सफलता के बाद मानव मिशनों का विस्तार
* चंद्रमा पर उतरने के लिए **दीर्घकालिक स्पेस इनफ्रास्ट्रक्चर** विकसित करना
* भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों के लिए **लंबी अवधि के प्रशिक्षण कार्यक्रम**
अंतरिक्ष मिशन के जश्न के बीच विपक्ष का हंगामा
जहां एक ओर पूरा देश शुभांशु शुक्ला की सफलता पर गर्व और उत्सव मना रहा था, वहीं लोकसभा में विपक्षी सांसदों ने बिहार के SIR मुद्दे पर जोरदार विरोध दर्ज कराया। डॉ. जितेंद्र सिंह ने इसे दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा:
देश जब अंतरिक्ष मिशन की सफलता पर जश्न मना रहा है, तब विपक्ष चर्चा से भाग रहा है और सदन की गरिमा को ठेस पहुंचा रहा है।
भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम की दिशा
भारत ने हाल के वर्षों में अपने अंतरिक्ष कार्यक्रम को तेज गति दी है। चंद्रयान-3 की सफलता, आदित्य एल1 सौर मिशन और अब मानव
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